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इले   ॉिन  मैके िनक - CITS



           िसंग नस और एिसंग नस     िटअल सिक  ट के  बीच अंतर यहाँ िदया गया है

           िसंग नस     िटअल सिक  ट: आउटपुट समय के  असतत अंतराल पर बदलता है। यह एक समान अव ा समय या  ॉक जैसे ए टन ल साधनों  ारा
           प रभािषत अव ा समय पर आधा रत सिक  ट है। िसंग नस     िटअल सिक  ट के  उदाहरण   प  ॉप, िसंग नस काउंटर ह ।

           एिसंग नस     िटअल सिक  ट: इनपुट को बदलकर िकसी भी समय आउटपुट को बदला जा सकता है। यह एक ऐसा सिक  ट है िजसका  ेट टाइम पूरी
           तरह से इंटरनल लॉिजक सिक  ट देरी पर िनभ र करता है। एिसंग नस     िटअल सिक  ट का उदाहरण एिसंग नस काउंटर है।
           बेिसक   प  ॉप (Basic Flip Flops)

           एक सिक  ट जो करंट लगाने पर 1 से O या O से 1 म  बदल जाता है। यह एक िबट  ोरेज लोके शन है।

             प  ॉप वा व म  लॉिजक गेट का एक ए ीके शन है। जब उ   एक िनि त इनपुट वै ू दी जाती है, तो उ   याद रखा जाएगा और िन ािदत
           िकया जाएगा, अगर लॉिजक गेट को सही तरीके  से िडज़ाइन िकया गया हो।   प  ॉप का एक उ  ए ीके शन बेहतर इले  ॉिनक सिक  ट िडजाइन
           करने म  सहायक है।

             प  ॉप का सबसे आम उपयोग फीडबैक सिक  ट के  काया  यन म  होता है। चूंिक मेमोरी फीडबैक अवधारणा पर िनभ र करती है, इसिलए इसे
           िडजाइन करने के  िलए   प  ॉप का उपयोग िकया जा सकता है।
           लैच और   प- ॉप सूचना सं हीत करने के  िलए मूल एिलम ट ह । एक लैच या   प  ॉप एक िबट सूचना  ोर कर सकता है। लैच और   प-
            ॉप के  बीच मु  अंतर यह है िक लैच के  िलए, जब तक इनेबल िस ल का दावा िकया जाता है, तब तक उनके  आउटपुट लगातार उनके  इनपुट से
            भािवत होते ह । दू सरे श ों म , जब वे इनेबल होते ह , तो उनके  इनपुट बदलने पर उनकी कं ट ट तुरंत बदल जाती है। दू सरी ओर,   प- ॉप की
           कं ट ट के वल इनेबल िस ल के  बढ़ते या िगरते िकनारे पर बदलती है। यह इनेबल िस ल आमतौर पर कं ट ोिलंग  ॉक िस ल होता है।  ॉक के  बढ़ते
           या िगरते िकनारे के  बाद, इनपुट बदलने पर भी   प- ॉप कं ट ट   र रहती है।

           मूल  प से लैच और   प- ॉप के  चार मु   कार ह : SR, D, JK, और T. इन   प ॉप  कारों म  मु  अंतर उनके  पास मौजूद इनपुट की सं ा
           और वे िकस तरह से   ित बदलते ह ।   ेक  कार के  िलए, अलग-अलग िभ ताएँ  भी ह  जो उनके  ऑपरेशन को बढ़ाती ह ।

           RS लैच (RS Latch)
           • RS लैच म  दो इनपुट होते ह , S और R. S को सेट और R को रीसेट कहा जाता है।

           • S इनपुट का उपयोग Q पर HIGH   ो ूस करने के  िलए िकया जाता है (यानी   प- ॉप म  बाइनरी 1 को  ोर कर )।

           • R इनपुट का उपयोग Q पर LOW  ो ूस करने के  िलए िकया जाता है (यानी   प- ॉप म  बाइनरी O को  ोर कर )।
           • Qʼ Q कॉ   म टरी आउटपुट है, इसिलए यह हमेशा Q के  िवपरीत मान रखता है।

           • S-R लैच का आउटपुट करंट के  साथ-साथ िपछले इनपुट या   ित पर िनभ र करता है, और जैसे ही इसके  इनपुट बदलते ह , इसकी   ित (सं हीत
              मान) बदल सकती है।

           इले   ॉिनक सिक  ट म  मु   प से चार  कार के    प  ॉप का उपयोग िकया जाता है (There are mainly four types of flip flops
           that are used in electronic circuits)

           1  बेिसक   प  ॉप या S-R   प  ॉप
           2  िडले   प  ॉप [D   प  ॉप]

           3  J -K    प  ॉप

           4 T   प  ॉप
           1 SR   प  ॉप (SR Flip Flop)

           SET-RESET   प  ॉप को दो NOR गेट और दो NAND गेट की मदद से िडज़ाइन नहीं िकया गया है। इन   प  ॉप को S-R लैच भी कहा जाता है।

           NOR गेट का उपयोग करके  S-R   प  ॉप (S-R Flip Flop using NOR Gate)

           इस तरह के    प  ॉप के  िडज़ाइन म  दो इनपुट शािमल होते ह , िज   SET [S] और RESET [R] कहा जाता है।
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                                   CITS : इले   ॉिन  & हाड वेयर - इले   ॉिन  मैके िनक - पाठ 9 - 29
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