Page 183 - CITS - Mechanic Diesel Trade Theory - Hindi
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मैके िनक डीजल - CITS



                                                    मॉ ूल 7 : इंजन कू िलंग िस म (Engine Cooling System)


           पाठ 47 - 56: इंजन कू िलंग िस म कू ल ट,  कार और इसके  गुण (Engine cooling system Coolant,
                         types, and its properties)

           उ े
           इस पाठ के  अंत म  आप यह जान सक  गे
           •  कू ल ट के  गुणों की  ा ा कर
           •  कू ल ट के   कारों की  ा ा कर
           •  कू िलंग िस म की  ा ा कर


           शीतलन  णाली का प रचय (Introduction of cooling system)

           प रचय (Introduction)

           इंजन के  संचालन के  दौरान उ   होने वाली ऊ ीय ऊजा  के  प रणाम  प इंजन का तापमान लगातार बढ़ता रहता है। इसिलए, इंजन के  तापमान को
           िनयंि त करने की आव कता होती है। इंजन की अनाव क गम  को ख  करने या इंजन के  तापमान को िनयंि त करने के  िलए शीतलन  णािलयों
           का उपयोग िकया जाता है, जो दो  कार की होती ह  - वायु शीतलन और जल शीतलन।
           शीतलन  णाली की आव कता (Need of cooling system)

           इंजन म  शीतलन  णाली इंजन को उसम  उ   होने वाली गम  के  दु भावों से बचाने के  िलए  व  त की जाती है। शीतलन  णाली के  अभाव म ,
           इंजन के  अंदर िन िल खत दोष होने की संभावना होती है:

           1   ी-इि शन
           2   डेटोनेशन

           3   नॉिकं ग

           4   वा  का जलना और

           5   तेल की कमी के  कारण बीय रंग आिद को नुकसान।
           शीतलन से संबंिधत तकनीकी श ावली (Technical terminology related to cooling)

           वाहनों के  शीतलन से संबंिधत तकनीकी श ावली इस  कार है:

           1    थनांक (Boiling Point)

           वह िनि त तापमान िजस पर कोई तरल गैस म  प रवित त होने लगता है, उसे तरल का  थनांक या वा  िबंदु कहा जाता है और इस  ि या को उबलना
           कहा जाता है; उदाहरण के  िलए, पानी का  थनांक 100°C होता है और डीजल इंजन म  डीजल का  थनांक 180°C-360°C होता है।
           2   ऊ ा  ानांतरण (Heat Transfer)

           एक  ान से दू सरे  ान पर ऊ ा का  ानांतरण मु   प से तीन िविधयों - चालन, संवहन और िविकरण  ारा िकया जा सकता है। पहली दो िविधयों
           म  ऊ ा  ानांतरण के  िलए मा म की आव कता होती है, जबिक िविकरण िविध के  िलए यह आव क नहीं है।

           िविकरण िविध ऊ ा  ानांतरण की सबसे तेज़ िविध है, िजसम  िवद् युत चु कीय िविकरण के   प म  ऊ ा एक  ान से दू सरे  ान पर  ानांत रत
           होती है। ऊ ा  ानांतरण की इन तीनों िविधयों का संि   िववरण नीचे िदया गया है।
           i   चालन (Conduction)

           ऊ ा संचरण की वह  ि या, िजसम  व ु के  कण अपने  ान से नहीं िहलते, ब   ऊ ा को एक  ान से दू सरे  ान पर जाने देते ह । चालन  ि या
           कहलाती है




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